मेरे पापा...
मेरे पापा सबसे अच्छे;
ज़मी नहीं तारों के जैसे
एक दफ़ा नही सौ दफ़ा कहेंगे ऐसे!
मेरे पापा सबसे अच्छे।।।
फूलों को जैसे नीर सींचते
वैसे ही पापा हमें सींचते
एक दफ़ा नही सौ दफ़ा कहेंगे ऐसे!
मेरे पापा सबसे अच्छे।।।
ओस की बूंद से, जैसे घास सने
वैसे ही पापा के प्यार से हम बढ़े
एक दफ़ा नही सौ दफ़ा कहेंगे ऐसे!
मेरे पापा सबसे अच्छे।।।
जैसे बिना सूर्य के ना दिन निकलते
वैसे ही बिना पापा के कहां संवरते
एक दफ़ा नही सौ दफ़ा कहेंगे ऐसे!
मेरे पापा सबसे अच्छे।।।
जो हमारी मुस्कान लिए
सारे जख्म झेलते
भला उनकी जज़्बात से कैसे खेलते
मेरे पापा सबसे अच्छे
एक दफ़ा नही सौ दफ़ा कहेंगे ऐसे।
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